टोंक । उपखंड के सोहेला में वैसे तो वन विभाग अवैध खनन बंद होने का दावा करता है लेकिन वही वन विभाग भूमि के पास ही में कोटा जयपुर नेशनल हाईवे पर ठेका वाला, मोडया वाला प्लान्टेशन के पास एक निजी कास्तकार द्वारा करीब 6 बीघा भूमि पर अवैध पत्थरों की चुनाई कर दीवार बनाई जा रही है अगर सोहेला वन विभाग यह दावा करता है की क्षेत्र में अवैध खनन बंद है तो सवाल यह उठता है कि यह पत्थर कहां से आ रहे है।

वह किस फर्म ने फर्जी रवन्ना काट कर पत्थर डालें है ।अब देखना यह होगा की वन विभाग यह पत्थर कहां से डालें गये इस की जांच कर सरकारी राजस्व वसुलने का कार्य करेगा या मूकदर्शक बना देखता रहेगा।

वहीं जानकार सूत्रों ने बताया की संरवराबाद में खनिज विभाग की लीज में पत्थर ही नहीं है जिसके चलते लीज धारक द्वारा वन विभाग की पहाड़ियों से रात दिन अवैध खनन कर अनेक ठिकानो पर बेचा जा रहा है।
फील्ड स्टॉफ कर्मचारी टोंक उपं वन संरक्षक कार्यालय में वर्षा से तैनात पदों का हो रहा दूर उपयोग
(1)उप वन संरक्षक टोंक द्वारा वन कर्मचारीयों मे मेन पोस्टिंग पर तैनात सहायक वनपाल को अमीन का चार्ज दिया हुआ है।
(2)एक सहायक वनपाल को एनओसी का चार्ज मिला हुआ है।
(3)एक सहायक वनपाल ऑफिस में तैनात रहता है।
(4)एक वनरक्षक को तकनीकी शाखा में लगा रखा है।
सवाल यह उठता है की किस अधिकारी के आशीर्वाद से फील्ड स्टॉफ टोंक उपं वन संरक्षक कार्यालय में कई वर्षों से जमा हुआ है।
इस को लेकर उच्च अधिकारियों से दूरभाष पर बात करना चाही तो फोन उठाना मुनासिब नहीं समझा गया।
