Tonk News। जिले की सुप्रसिद्ध महिला शिक्षा में देश में अग्रशी संस्थान वनस्थली विद्यापीठ का विशेष वार्षिकोत्सव शनिवार को आयोजित किया गया, समारोह के मुख्य अतिथि वेदांता रिसोर्सेज के चेयरमैन अनिल अग्रवाल थे। अनिल अग्रवाल एक मशहूर भारतीय उद्योगपति हैं, जो वेदांता रिसोर्सेज लिमिटेड के संस्थापक और अध्यक्ष हैं।
वनस्थली विद्यापीठ में आगमन पर मुख्य अतिथि वेदांता रिसोर्सेज के चेयरमैन अनिल अग्रवाल का शनिवार को प्रात: 11:00 बजे पारम्परिक स्वागत विद्यापीठ की अध्यक्ष प्रो. सिद्धार्थ शास्त्री, कुलपति, प्रो.ईना आदित्य शास्त्री, कोषाध्यक्ष प्रो. सुधा शास्त्री, छात्राओं एवं कार्यकत्र्ताओं द्वारा किया गया। स्वागत द्वार पर वनस्थली सेवा दल के बैंड द्वारा मुख्य अतिथि को सलामी दी गयी।
छात्राओ ने पारंपरिक स्वागत गान एवं सूत की माला पहनाकर उनका अभिवादन किया। इसके स्वागत के पश्चात् मुख्य अतिथि ने वनस्थली की मूल प्रेरणा शक्ति स्थल ‘श्रीशांताबाई शक्षा कुटीर’ का अवलोकन किया। कुलपति प्रो. ईना आदित्य शास्त्री द्वारा मुख्य अतिथि को इस स्थान की महत्ता से अवगत कराया गया।
तदुपरांत मुख्य अतिथि लक्ष्मीबाई मैदान में ध्वजारोहण कर वनस्थली सेवादल द्वारा प्रस्तुत परेड़ में सम्मिलित हुए। तत्पश्चात् मुख्य अतिथि कला मंदिर में छात्राओं एवं देश-विदेश के अग्रणी कलाकारों की चित्रकारी एवं पेटिंग्स का अवलोकन किया। तदुपरान्त वे वीरबाला मैदान में घुड़सवारी, महादाजी शूटिंग रेंज में शूटिंग एवं मारूत मैदान में फ्लाइंग क्लब की गतिविधियों को देखा। इसी क्रम में वे विद्यापीठ के नवीनतम शैक्षिक विभागों-स्कूल ऑफ लाइफ साइंस, स्कूल ऑफ ऑटोमेशन एवं स्कूल ऑफ डिजाइन का परिदर्शन किया।
स्कूल ऑफ ऑटोमेशन में मुख्य अतिथि छात्राओं के साथ वार्ता कर काफी प्रभावित हुए। तदुपरान्त संगीत विभाग की छात्राओं द्वारा सुर मंदिर सभागार में शास्त्रीय संगीत एवं राजस्थानी लोक नृत्य कार्यक्रम प्रस्तुत किया गया।
वेदांता रिसोर्सेज के चेयरमैन अनिल अग्रवाल ने दोपहर 1:15 बजे ‘विशेष वार्षिकोत्सव’ में भाग लिया,कार्यक्रम का प्रारम्भ मंगलाचरण से हुआ।, कुलपति वनस्थली विद्यापीठ प्रो. ईना आदित्य शास्त्री ने मुख्य अतिथि का स्वागत करते हुए कहा कि आज हमारे लिए सौभाग्य का विषय है कि हमारे बीच अनिल अग्रवाल है।
भाई अनिल अग्रवाल का आप सभी की ओर से हार्दिक स्वागत करती हूँ, जिन्होंने सहज और सहर्ष हमारा निमन्त्रण स्वीकार किया। मुलाकात के कुछ ही दिनों में आपसेे ज्ञात हुआ कि आपका 6, 7, 8 जनवरी को भारत आने का कार्यक्रम है और आप इस दौरान वनस्थली पधारेंगे। आदित्य सर का यह स्वप्न इतना शीघ्र पूरा होगा, सोचा न था।
हम सभी कृतज्ञ हैं कि आपने हमारा निमन्त्रण स्वीकार किया। आपकी भव्य उपस्थिति से आज के समारोह की गरिमा और भी बढ़ गयी है। अनिल अग्रवाल भारत के मशहूर उद्योगपति है। आप किसी परिचय के मोहताज नहीं है। आप वेदांत रिसोर्सेज के अध्यक्ष है, जिसकी शुरूआत स्थानीय स्तर पर से होकर विश्वस्तरीय बन चुकी है।
आपकी कम्पनी 2003 में लंदन स्टॉक एक्सचेंज में सूचीबद्ध हुई। आपके द्वारा स्थापित स्टरलाइट उद्योग 1993 में कॉपर स्मेल्टर और रिफाइनरी स्थापित करने वाली भारत की पहली निजी क्षेत्र की कम्पनी है। 1992 में आपने परोपकारी कार्यक्रमों और गतिविधियों को चलाने के लिए वेदांत फाउंडेशन बनाया। फाउंडेशन कम विशेषाधिकार प्राप्त समुदायों की बेहतरी के लिए काम करता है।
मूल रूप से इसका लक्ष्य उनकों आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनाते हुए लोगों को सशक्त करना है। उनके व्यवसायिक एवं सामाजिक योगदान को देखते हुए उन्हें ग्लोबल इंडियन अवार्ड, टोरंटो, 2022, द इकनोमिक टाइम्स, बिजनेस लीडर अवार्ड-2012, द एशियन अवाड्र्स एंटरप्रेन्योर ऑफ द इयर-2016, द एशियन अचीवर्स अवाड्र्स-लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड 2019 आदि महत्वपूर्ण सम्मान और पुरस्कार से सम्मानित किया गया है।
अनिल भाई पटना के साधारण मारवाड़ी परिवार से आते है और आप सभी को यह जानकर आश्चर्य भी होगा और हर्ष भी होगा कि आपकी माताजी और चार बुआजी वनस्थली की पूर्व छात्रा हैं। आप में से बहुत से लोग जानते होंगे कि उनका फाउंडेशन 13.7 लाख आंगनवाड़ी में 7 करोड़ बच्चों और 2 करोड़ महिलाओं के जीवन को नंद घरों के माध्यम से बदल रहा है, कक्षा पाठ्यक्रम, स्वास्थ्य देखभाल, पोषण के लिए उपयुक्त भोजन और महिलाओं के लिए अनुकूलित कौशल प्रशिक्षण प्रदान करता है।
मैं एक बार फिर पूरे विद्यापीठ परिवार की ओर से भाई अनिल अग्रवालजी का पुन: हार्दिक स्वागत करती हूँ। हम आपको अपने सानिध्य में पाकर अत्यंत प्रसन्न एवं गौरवान्वित महसूस कर रहे हैं। आपकी उपस्थिति हमारे लिए बहुत ही खास है।
वेदांता रिसोर्सेज के चेयरमैन अनिल अग्रवाल ने वनस्थली विद्यापीठ के विशेष वार्षिकोत्सव समारोह को सम्बोधित करते हुए कहा कि भारत में नैतिक शिक्षा का पतन हो रहा है, मैंने वनस्थली में आकर देखा है कि यहां पर भावी नागरिकों को चरित्र निर्माण के साथ-साथ उनके सर्वांगीण विकास किया जा रहा है।
यहां की पंचमुखी शिक्षा पद्धति भारत के लिए अनुकरणीय है ताकि नैतिक शिक्षा को बढ़ावा मिल सकें। मैंने देश-विदेश का भ्रमण किया है कहीं सरस्वती मिली कहीं लक्ष्मी परन्तु वनस्थली में आकर मुझे हर जगह सरस्वती, लक्ष्मी और दुर्गा तीनों का समावेश मिला। लक्ष्मी जीवन में बहुत महत्वपूर्ण है परन्तु आपको परिस्थितियों के अनुसार लक्ष्मी के साथ-साथ दुर्गा का भी रूप धारण करना होगा।
आगे उन्होंने अपने वनस्थली अनुभवों को साझा करते हुए कहा कि मैंने अपने जीवनकाल में वनस्थली जैसी सकारात्मक ऊर्जा नहीं देखी। बच्चों अब आपका समय आ गया हैं, आप अपनी सारी इच्छाओं को पूरी करना परन्तु देश और माता-पिता की इच्छा सर्वोपरि हैं। जो भी आप काम करों रूचि और लगन होना आवश्यकत है।
सभी के पास प्रतिभा है कला, संगीत, नृत्य फोटाग्राफी आप कुछ भी कर सकते हो, आप वहीं करो जिसमें आपकी रूचि हो, आपको मुस्करातें हुए आगे बढऩा हैं। मैं युवाओं से प्रेरित होता हूँ। आज का युवा प्रत्येक क्षेत्र में सचेत है इससे उम्मीद दिखती है कि हम बहुत आगे जायेंगे। हमने लंदन में भारतीय सस्ंकृति और संस्कारयुक्त 13 स्कूल खोले हैं।
सभी अंग्रेज इन स्कूलों में अपने बच्चों को पढ़ाना चाहते हैं। वनस्थली में आकर अनुभव हुआ कि वनस्थली विद्यापीठ की संस्कार से ही आप लक्ष्य तक पहुँच सकती हैं। जीवन में संस्कारों का बहुत महत्व हैं। राजस्थान उद्यमिता कर धरती है, आप सभी उद्यमिता को बढ़ा सकती हैं। वनस्थली का नाम बहुत है परन्तु उसे वैश्विक पटल पर शीर्ष की ओर ले जाना है।
उन्होंने कहा कि मैं एआई के निदेशक डॉ.अंशुमान शास्त्री से विशेष रूप से प्रभावित हूँ जो कि पूर्व कुलपति प्रो. आदित्य शास्त्री के सपनों को साकार करने के लिए प्रयत्नशील हैं। कुलपति प्रो.ईना आदित्य शास्त्री ने मुझे यह बताया कि वनस्थली विद्यापीठ में पंचमुखी शिक्षा के माध्यम से भारत में महिला नेतृत्व का विकास किया जा रहा है और हाल ही में वनस्थली विद्यापीठ को ग्लोबल टाइम्स रैंकिग में विश्व के चुनिंदा 3-4 प्रतिशत विश्वविद्यालयों में स्थान प्राप्त हुआ है।
इसके साथ ही वनस्थली विद्यापीठ को विश्व में महिला विश्वविद्यालयों में दूसरा स्थान प्राप्त हुआ है। यह वास्तव में केवल राजस्थान के लिए ही नहीं बल्कि सम्पूर्ण भारत वर्ष के लिए गौरव का विषय है।
यह इस बात को भी प्रमाणित करता है कि यहां नैतिकतायुक्त शिक्षा देकर भविष्य के नागरिकों को तैयार किया जा रहा है। मुख्य अतिथि ने अपनी वनस्थली यात्रा को अविस्मरणीय बताया और छात्राओं को संबोधित करते हुए कहा कि आप सभी को समाज के बदलाव के लिए कार्य करना है।
कार्यक्रम की अध्यक्षता विद्यापीठ की अध्यक्ष प्रो. सिद्धार्थ शास्त्री ने की और धन्यवाद ज्ञापन वनस्थली विद्यापीठ की कुलपति प्रो. ईना आदित्य शास्त्री द्वारा दिया गया।