मंत्री धारीवाल ने माकन के वक्तव्य पर किया पलटवार, माकन और आलाकमान को किया कटघरे में खड़ा

Dr. CHETAN THATHERA
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जयपुर/ राजस्थान कांग्रेस में अशोक गहलोत के राष्ट्रीय अध्यक्ष का चुनाव लड़ने और राजस्थान का नया मुख्यमंत्री के चयन को लेकर घमासान मचा हुआ है आलाकमान की ओर से नियुक्त पर्यवेक्षक तथा राजस्थान के प्रभारी अजय माकन के वक्तव्य पर अशोक गहलोत के खास सिपहसालार यूडीएच मंत्री शांतिलाल धारीवाल ने पलटवार करते हुए माकन व खडगे और आलाकमान को ही कटघरे में खड़ा कर दिया है

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष का चुनाव लड़ने से पहले राजस्थान के नए मुख्यमंत्री को लेकर आलाकमान सोनिया गांधी और राहुल गांधी ने विधायकों की राय जानने और रायशुमारी के लिए राजस्थान के प्रभारी अजय माकन और वरिष्ठ कांग्रेस नेता मल्लिका अर्जुन खड़के को पर्यवेक्षक बनाकर जयपुर भेजा था और आलाकमान सोनिया और राहुल गांधी के दिशा निर्देश पर दोनों पर्यवेक्षकों को कांग्रेस के प्रत्येक विधायक और मंत्री से अलग अलग बात और उनकी राय जाननी थी उसके बाद सामूहिक रूप से सभी विधायकों की राय जानने लेकिन गहलोत समर्थक मंत्री और विधायकों जिनकी संख्या करीब 90 है।

सभी ने दोनों पर्यवेक्षकों द्वारा बुलाई गई विधायक दल की बैठक और वन टू वन से पहले ही यूडीएच मंत्री शांतिलाल धारीवाल के आवास पर बैठक कर मंथन और विचार के बाद तीन बिंदुओं का प्रस्ताव बनाकर निर्णय लिया कि अगर इन बिंदुओं को नहीं माना जाता है तो सभी विधायक और मंत्री इस्तीफा देंगे और उन्होंने इस्तीफा डाॅ. सीपी जोशी को भी दे दिया तथा साथ ही तीन बिंदुओं का प्रस्ताव लेकर यूडीएच मंत्री शांतिलाल धारीवाल विधानसभा अध्यक्ष डॉक्टर सीपी जोशी और मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास दोनों पर्यवेक्षकों के पास पहुंचे और उन्हें अपना सशर्त तीन बिंदुओं का प्रस्ताव दिया जिसे पर्यवेक्षकों ने और आलाकमान ने मानने से इनकार कर दिया।

इसके बाद पर्यवेक्षक अजय माकन ने मीडिया से बातचीत के दौरान इस घटनाक्रम को अनुशासनहीनता बताया और नाराजगी जाहिर की और वह आलाकमान के बुलावे पर दोपहर को दिल्ली लौट गए थे।इधर इस घटनाक्रम के बाद यूडीएच मंत्री शांतिलाल धारीवाल ने मीडिया से बातचीत के दौरान राजस्थान के प्रभारी तथा पर्यवेक्षक अजय माकन के द्वारा अनुशासनहीनता वाले वक्तव्य पर पलटवार करते हुए कहा कि माकन का विचार और ही है वह विधायकों से बात करना ही नहीं चाहते थे वह तो मुख्यमंत्री का फैसला हाईकमान पर छोड़ने का एक लाइन का प्रस्ताव पास कराने आए थे और सारे विधायक यह मांग रहे थे।

 अगर पर्यवेक्षक अजय माकन और मलिकार्जुन खडगे के साथ बैठक की तो उन लोगों को पुरस्कृत किया जाएगा जिन लोगों ने कांग्रेस की पीठ में छुरा घोंप आता यह किसी भी विधायक को मंजूर नहीं था इसलिए यह सब कुछ हुआ और मैं संसदीय कार्य मंत्री हूं इसलिए सभी विधायक मेरे पास आए थे शांतिलाल धारीवाल का यह बयान आलाकमान को और आलाकमान का दूत बनकर आए पर्यवेक्षक अजय माकन तथा मलिकार्जुन खडगे को कटघरे में खड़ा करता है ?

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चेतन ठठेरा ,94141-11350 पत्रकारिता- सन 1989 से दैनिक नवज्योति - 17 साल तक ब्यूरो चीफ ( भीलवाड़ा और चित्तौड़गढ़) , ई टी राजस्थान, मेवाड टाइम्स ( सम्पादक),, बाजार टाइम्स ( ब्यूरो चीफ), प्रवासी संदेश मुबंई( ब्यूरी चीफ भीलवाड़ा),चीफ एटिडर, नामदेव डाॅट काम एवं कई मैग्जीन तथा प समाचार पत्रो मे खबरे प्रकाशित होती है .चेतन ठठेरा,सी ई ओ, दैनिक रिपोर्टर्स.कॉम