Bikaner News। राजस्थान मे शिक्षा विभाग के शिक्षा के वर्तमान व्यवस्था मे बदलाव होगा और नई शिक्षा नीति
लागू होगी इसका मसौदा अंतिम चरण मे है । नई शिक्षा नीति 10+2 के स्थान पर अब 5+3+3+4 की होगी।।
शिक्षा निदेशक सौरभ स्वामी(आईएएस) ने नई शिउक्षा नीति के बारे मे संक्षिप्त जानकारी देते हुए बताया की अब
सरकारी स्कूलों में भी प्री प्राइमरी कक्षाएं प्रारंभ करने की तैयारी है।
इस कक्षा को बालवाटिका नाम दिया जाएगा। नई शिक्षा नीति में 10+2 के स्थान पर 5+3+3+4 का प्रावधान किया जाएगा। शिक्षा विभाग ने भी नए प्रावधानों के आधार पर तैयारी प्रारंभ कर दी है।
क्या होगा नया स्वरूप
स्वामी ने बताया की नए प्रावधानों के अनुसार 3 से 8 साल तक के बच्चों के लिए फाउंडेशन स्टेज होगा इसमें दो साल आंगनबाड़ी के होंगे। इसके बाद एक साल बालवाटिका का और फिर पहली और दूसरी कक्षा होगी। यह तीनों कक्षाएं स्कूल में संचालित होगी।
इसके बाद तीन साल तीसरी से पांचवीं तक, तीन साल छठी से आठवीं तक और 4 साल नवीं से बारहवीं तक का प्रावधान रहेगा।
बालवाटिका के लिए इनकी होगी भूमिका
बालवाटिका के लिए महिला बाल विकास विभाग की ओर से प्रशिक्षण देकर शिक्षा विभाग की मांग के अनुसार शिक्षक उपलब्ध कराए जाने का प्रावधान रखा जाएगा। इससे सरकारी स्कूलों में भी प्री प्राइमरी कक्षाएं प्रारंभ हो सकेंगी। हालांकि शिक्षा विभाग के सामने प्री प्राइमरी के लिए योग्य शिक्षकों की कमी रहेगी। इसके लिए उसे महिला बाल विकास विभाग के भरोसे रहना पड़ेगा।
प्रदेश मे आंगनबाड़ी की स्थिति
प्रदेश में वर्तमान में 61613 आंगनबाड़ी केंद्र संचालित है। इनमें से 18565 आंगनबाड़ी केंद्र पहले से ही स्कूलों में चल रहे हैं। अन्य में 25810 विभागीय भवन में और 10553 किराए के भवनों में चल रहे हैं।
इनकी जुबानी

बालवाटिका स्कूल में चलेगी। इससे सरकारी स्कूलों में भी प्री प्राइमरी कक्षाएं संचालित हो सकेंगी। इसके लिए शिक्षकों की व्यवस्था का काम पूर्व प्राथमिक शिक्षक भर्ती के जरिए महिला बाल विकास विभाग का रहेगा।
–सौरभ स्वामी(आईएएस), निदेशक, माध्यमिक शिक्षा