Tonk / राहत की खबर: अब तक कोरोना वायरस के 34 सेंम्पल नेगेटिव 3 के बाकी

liyaquat Ali
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कोरोना वायरस के संक्रमण की चेन को तोडऩे के लिए आयोजित चिकित्सा विभाग की टीम सर्वे करती हुई

Tonk News कोरोना वायरस(COVID-19) के संक्रमण की चेन को तोडऩे के लिए देश में 21 दिन का लोक डाउन है। दूसरे राज्यों से भी मजदूर राजस्थान में लौट रहे हैं ऐसे में जिला प्रशासन एवं चिकित्सा विभाग के सामने महत्वपूर्ण चुनौति उत्पन्न हो गई है। माननीय जिला कलेक्टर के के शर्मा ने बताया कि जिला प्रशासन एवं चिकित्सा विभाग कोरोना वायरस की रोकथाम को लेकर चिकित्सा विभाग तत्परता से जुटा हुआ है विदेश से, अन्य राज्यों से एवं अन्य जिलों विशेषकर भीलवाड़ा से आने वाले लोगों की लगातार स्क्रीनिग कर उनको होम क्वारेन्टाईन पर रखा जा रहा है।

स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा होम क्वॉरेंटाइन वाले व्यक्तियों को घर के बाहर होम क्वॉरेंटाइन के नोटिस चस्पा कर, उन व्यक्तियों के हाथ पर मोहर लगाकर घर में रहने पर पाबंध कर रही है। विदेशों से आए नागरिकों की सतर्कता के साथ निगरानी रखने के साथ उनको 28 दिन तक घर पर रहने के लिए पाबंद करने पर विशेष जोर दिया जा रहा है। यदि वह ऐसा नहीं करते हैं तो उनके खिलाफ पुलिस द्वारा कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

जॉच के लिये भेजे गये अब तक सभी 34 सेंम्पल नेगेटिव

जिला कलेक्टर के के शर्मा ने बताया कि अब तक जिले के सभी 34 सेंम्पल के परिणाम नेगेटिव आई है। जिनमें 31 के सेम्पल जिला अस्पताल में तथा 3 के सेम्पल जयपुर आरयुएचएस मे लिये गये थें। ये टोंक जिले के राहत की बात है, तथा रविवार को 4 सेम्पल लिये गये जिनका परिणाम आना बाकी है। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ अशोक कुमार यादव ने बताया कि वर्तमान में टोंक जिले में कोविड-19 रोग के बचाव रोकथाम व नियंत्रण हेतु घर-घर सर्वे एवं ओपीडी स्क्रिनिंग की जा रही है। अब तक टोंक जिले में 1 लाख 70 हजार 046 घरो में चिकित्सा विभाग की आर.आर.टी. टीम ने सर्वे कर 7 लाख 50 हजार 544 व्यक्तियों की स्क्रीनिंग की हैं।

इनमें से विदेषो से आये, अन्य राज्यो व जिलो से आये विशेष कर भीलवाड़ा से आये 7 हजार 388 व्यक्तियों को होम क्वारेन्टाईम पर रखा गया हैं। होम कोरेन्टाइन चिकित्सा विभाग की एक सामान्य प्रकिया होती है जिसे स्क्रीनिंग और प्रीवेंशन कहा जाता है जिसके तहत जो  व्यक्ति संदिग्ध स्थानों से आये हैं, उनको निगरानी में रखा जाता है और उनकी स्क्रीनिंग की जाती है जो एक सामान्य प्रकिया होती है और मेडिकल टीम जाकर एतिहात के तौर पर यह प्रक्रिया करती  है।

डिप्टी सीएमएचओ महबूब खान ने बताया कि रविवार को कोरोना वायरस के रोकथाम के लिये सीएमएचओ कार्यालय में टोंक जिल में कोरोना वायरस (कोंविड-19) की वर्तमान स्थिति के नियंत्रण के लिए चिकित्सा विभाग, आयुर्वेद विभाग, शिक्षा विभाग, महिला एवं बाल विकास विभाग की समन्वय मीटिंग आयोजित की गई। इस मीटिंग में कोरोना वायरस के सामुदायिक प्रसार की संभावना को समाप्त करने के लिए टोंक जिलें में सघन सर्वे अभियान चलाया जाएगा।

डॉ खान ने बताया कि इन सभी विभाग के अधिकारी कर्मचारियों की समन्वय से टोंक जिलें मे लिए सघन सर्वे अभियान चलाया जायेगा। जिसमें विदेश से, अन्य राज्यों से एवं अन्य जिलों विशेषकर भीलवाड़ा से आने वाले लोगों की लगातार स्क्रीनिग कर उनको होम क्वारेन्टाईन पर रखा जायेंगा। इनकी  विभागों की सहभागिता से टीम का गठन  किया जाएगा।

इस सर्वे के लिए शिक्षा विभाग के अध्यापक, महिला एवं बाल विकास विभाग के आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, आशा सहयोगिनी एवं सहायिका की मदद ली जाएगी। स्क्रीनिंग के लिए चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के सभी तीनों शहरी क्षेत्रों के यूपीएचसी के एएनएम, जीएनएम एवं चिकित्सा अधिकारी प्रभारी एवं आयुष चिकित्सक अपनी सेवाएं देंगे। आयुर्वेद विभाग के चिकित्सक एवं आयुष कम्पाऊण्डर  अपनी सेवाएं देंगे।

इस मीटिंग में महिला एवं बाल विकास विभाग के डिप्टी डायरेक्टर डॉ धर्मवीर, जिला मुख्य शिक्षा अधिकारी शिवराम यादव, आयुर्वेद विभाग से प्यारे लाल मीणा, जिला कार्यक्रम प्रबंधक सिंह राम गुर्जर, सहित अर्बन पीएचसी के चिकित्सा अधिकारी प्रभारी, पीएचएम एवं हरभजन उपस्थित रहे।

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