Tonk। चारागाह पर पेट्रोल पम्प कैसे बन रहा है बताए टोंक कलेक्टर,टोंक। नगरफोर्ट -नैनवा स्टेट हाई वे पर पेट्रोल पंप लगाने के लिए भू उपयोग परिवर्तन के टोंक कलेक्टर के आदेश के मामले में हाईकोर्ट की जयपुर पीठ ने भारत पेट्रोलियम ,कोटा के प्रबंधक,टोंक ज़िला कलेक्टर, देवली के उपखंड अधिकारी, नगरफोर्ट के ग्राम विकास अधिकारी सहित चार अन्य को नोटिस जारी कर पूछा है कि क्यों न पेट्रोल पंप स्थापित करने के लिए किए गए भू उपयोग परिवर्तन के आदेश को रदद् कर दिया जावे?
न्यायाधीश अशोक कुमार गोंड की एकलपीठ ने यह आदेश नगर फोर्ट के सुवालका फिलिंग स्टेशन के अश्विनी कुमार व कमलेश गौतम द्वारा एडवोकेट लक्ष्मीकांत शर्मा मालपुरा के जरिये दायर की गई याचिका पर प्रारंभिक सुनवाई करते हुए दिए ।
याचिका में बताया गया है कि भारत पेट्रोल पम्प के लिए खसरा नंबर 643 पर आवंटन किया गया ,इस खसरे से ठीक आगे चारागाह भूमि है जिसे ग्राम पंचायत ,नगरफोर्ट द्वारा पँचायत की बैठक के बाद फर्जी प्रस्ताव पारित कर चारागाह भूमि के खसरा नम्बर 634 के लिए अनापत्ति प्रमाण पत्र जारी कर दिया ,
जबकि ग्राम पंचायत के सरपंच व उप सरपंच ने 21 दिसंबर 2020 लिखकर दिया कि ऐसा कोई प्रस्ताव ग्राम पंचायत द्वारा जारी नही किया गया है,वही टोंक कलेक्टर 26 अक्टूबर 2020 को एसडीओ देवली को पत्र भेजकर कहा कि उक्त भूमि चूंकि चारागाह भूमि है ऐसे में खसरा नंबर 634 का भू उपयोग नही बदला जा सकता है तथा पेट्रोल पम्प स्थापित करने के लिए एनओसी नही दी जा सकती है,
इसके बावजूद भी टोंक कलेक्टर ने 27 जनवरी 2022 को उक्त भूमि को भू उपयोग परिवर्तन कर दिया जिसे याचिका ने चुनोती देते हुए कहा कि बगैर ग्राम पंचायत की एनओसी के चारागाह भूमि का भू उपयोग परिवर्तन अवैधानिक व गैर कानूनी है ।
अदालत ने मामले की सुनवाई के बाद पक्षकारों को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है साथ ही पेट्रोल पम्प के निर्माण के मामले में आदेश दिया है कि यह निर्माण याचिका के अंतिम निर्णय के निर्णायाधींन रहेगा ।