शिव शक्ति के प्रतीक श्रावण मास का प्रारंभ 17/7 से

liyaquat Ali
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डॉ. पं. पवन सागर

सुहावने सावन का शुभारंभ

टोंक 

भवण कृष्ण एकम बुधवार 17 जुलाई से शिव शक्ति के प्रति महा श्रावण के महीने का आगाज हो रहा है, जो श्रावण शुक्ला पूर्णिमा गुरूवार 15 अगस्त रक्षा बंधन तक रहेगा। डॉ. पं. पवन सागर ने बताया कि श्रावण का महीना भगवान शिव एवं माता पार्वती की पूजा आराधना के लिये शास्त्रों में स्वतम बताया गया है। इस माह में विशेष रूप से रूद्राभिषेक, महामृत्यंजय जाप, सवालक्ष जैसे धार्मिक अनुष्ठानों की धूम रहती है। शिव भक्त पूरे महीने शिवजी को प्रसन्न करने एवं आशीष लेने के लिए जल, पंचामृत, विजिया (भांग), ईक्षुरस (गन्ना रस), जटा मासी, खस तथा तेल आदि से शिव का अभिषेक कर बील पत्र, आकड़े, धतूरे तथा शमी पत्र आदि अर्पण करते है।

 

डॉ. पं. पवन सागर ने बताया कि इस महीने 22 जुलाई, 5 अगस्त को नाग पंचमी, 28 जुलाई व 11 अगस्त को एकादशी व्रत, 29 जुलाई व 12 अगस्त को सोम प्रदोष व्रत, 2 अगस्त को सिंजारा, 3 अगस्त को सावनरीतिज, 22, 7 जुलाई व 5 व 12 अगस्त को सुखी सोमवार, 23 व 30 जुलाई, 6 व 14 अगस्त को मंगला गोरी व्रत पूजा के विशेष पर्व रहेगें। जिन विवाह योग्य युवक-युवतियों के विवाह में बिलम्ब हो रहा हो उनके लिए मंगला गौरी व्रत विशेष लाभकारी होता है। श्रावण कृष्णा अमावस्या 1 अगस्त को हरियाली अमावस्या सूर्योदय से दोपहर 12.15 बजे तक गुरू पुष्य विशेष योग रहेगा। बुधवार 7 अगस्त को तुलसी जयंती मनाई जायेगी। जन मानस हेतु सभी पर्व पूरे श्रावण महीना शिव जी की आराधना के लिये श्रेष्ठ है। श्रावण के अंतिम दिन गुरूवार 15 अगस्त को रक्षा बंधन के साथ सुहावने सावन का सफर पूरा होगा।

 

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