
जयपुर/ उदयपुर/ झीलों की नगरी उदयपुर में कन्हैया लाल साहू दर्जी की 6 दिन पहले की गई तालिबानी हत्या की साजिश में दो मौलाना और दो वकील भी शामिल थे तथा इस हत्याकांड का प्रस्ताव घटना से 8 दिन पहले ही पारित कर लिया गया था और इसकी रूपरेखा भी बना ली गई थी।
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विश्वस्त सूत्रों के अनुसार कन्हैया लाल के तालिबानी ढंग से की गई हत्या कांड जांच के दौरान एनआईए के सामने खुलासा हुआ है की 20 जून को विवादित टिप्पणी देने वाली भाजपा से निलंबित पार्टी की पूर्व राष्ट्रीय प्रवक्ता नूपुर शर्मा के समर्थन में उदयपुर में 20 जून को पूरे प्रदर्शन के बाद ही शहर के मुखर्जी चौक में रियाज अंसारी और गौस मोहम्मद की अगुवाई में ही एक बैठक हुई थी इस बैठक में रियाज अंसारी और गौस मोहम्मद के अलावा दो मौलाना तथा दो वकील भी शामिल थी ।
इस बैठक में ही यह प्रस्ताव लिया गया कि सोशल मीडिया नूपुर शर्मा का समर्थन करने वाले कन्हैया लाल साहू दर्जी हत्या की करेंगे और इस हत्याकांड को रियाज मोहम्मद गौस मोहम्मद अंजाम देंगे यह बैठक में प्रस्ताव लिया गया और साथ ही बैठक में प्रस्ताव किस लेने के बाद तय हुआ कि किस दिन कन्हैया की हत्या करनी है कैसे करनी है तथा कौन रेकी करेगा कौन वीडियो बनाएगा फिर क्या करना है।
यह सब बैठक में तय हुआ था एटीएस और जांच एजेंसियों ने इस हत्याकांड में रेकी करने वाले मोहसिन खान और आरिफ हुसैन को गिरफ्तार कर लिया है और रिमांड पर हैं वह जबकि अन्य लोगों की अभी भी तलाश की जा रही है तथा कुछ हिरासत में जेल से पूछताछ की जा रही है।