Jaipur News । नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि जिला परिषद व पंचायत समितियों के नतीजों से साफ हो गया है कि राजस्थान में कांग्रेस का सिर्फ नाम बचा है, जबकि उसका ढांचा पूरी तरह चरमरा गया है। अब केवल कांग्रेस के नेता ही बचे है। भाजपा ने बूथ लेवल तक अपने संगठन को मजबूत बनाने के साथ कार्यकर्ताओं को एकजुट बनाए रखा है। इसी कारण कांग्रेस की सरकार होने के बावजूद हम कांग्रेस को 2 सालों में ही जमीन दिखाने में कामयाब हो पाए हैं।
नेता प्रतिपक्ष कटारिया बुधवार को भाजपा मुख्यालय में जिला प्रमुख और प्रधानों को लेकर चल रही बैठक के बाद पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने कहा कि चुनाव में जिन्होंने भी परिवार के लोगों को उतारने का प्रयास किया था, उन्हें जनता ने नकार दिया। उनके 40 साल के राजनीतिक कॅरियर में ऐसा पहली बार हुआ है कि जिस पार्टी की सत्ता है, उसे हार मिली हो। चुनाव में कांग्रेस सरकार को जनता ने इग्नोर किया है। यह छोटा-मोटा चुनाव नहीं है, 21 जिलों में 97 फीसदी लोगों ने अपना वोट दिया है और उन्होंने कांग्रेस सरकार को इग्नोर किया है।
कटारिया ने कहा कि जनता ने सरकार के 2 सालों के कामों को लेकर असंतोष व्यक्त किया है। बिजली के बिल, बेरोजगारी, आम जनता के काम नहीं होने और विकास को लेकर जनता ने वोट किया है। इसका असंतोष पंचायत चुनाव में जनता ने दिखा दिया है। कांग्रेस अपने 2 सालों के कार्यकाल में फ्लॉप रही है यह सरकार आम जनता से बिछड़ चुकी है। कांग्रेस सरकार खुद ही आपस में लड़ रही है और यह लड़ाई जनता भी देख रही है। वे बड़ी आसानी से पत्थर हमारी ओर फेंक कर बरी हो जाते हैं। कटारिया ने इस बात से इनकार किया कि कृषि कानूनों का असर पंचायती राज चुनाव पर पड़ा है। उन्होंने कहा कि थोड़ा बहुत नुकसान मंडी व्यापारियों को जरूर हुआ है, उन राजनेताओं को हुआ जो इन मंडियों को आधार बनाकर पैसे कमाने का काम करते थे। कटारिया ने कहा कि कृषि कानूनों का विरोध वे नेता कर रहे हैं, जिनकी दुकानदारी मंडियों से चलती थी। कृषि कानूनों पर यदि सहमति नहीं बन रही है तो बैठकर बात की जा सकती है।