Jaipur News । केन्द्रीय राज्य मंत्री अर्जुनराम मेघवाल और भारतीय जनता पार्टी की राष्ट्रीय मंत्री डॉ. अलका गुर्जर ने बुधवार को भाजपा प्रदेश मुख्यालय पर आगामी पंचायती राज चुनाव को लेकर कांग्रेस सरकार का काला चिट्ठा (ब्लैक पेपर) जारी किया है। इस अवसर भाजपा नेताओं ने आरोप लगाए हैं कि कांग्रेस में गुटबाजी और आपसी झगड़ा चरम पर है, इसलिए सरकार की योजनाओं का लाभ जनता को नहीं मिल पा रहा है। केन्द्र सरकार की कई महत्वपूर्ण योजनाओं पर सरकार ने अघोषित रोक लगा रखी है। ग्रामीण विकास अवरुद्ध है और जनता त्रस्त हो चुकी है।
केंद्रीय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने कांग्रेस पर दलित विरोधी होने का आरोप लगाते हुए कहा कि कैबिनेट मंत्री मास्टर भंवरलाल मेघवाल के निधन पर कांग्रेस के बड़े नेता नहीं पहुंचे, इससे कांग्रेस के दलित विरोध की मानसिकता साफ झलकती है। लेकिन अब दलित समाज कांग्रेस की नीतियों को समझ चुका है। आज दलित समाज अंगड़ाई ले रहा है। उन्होंने कहा कि बीते दो साल में कांग्रेस ने ग्रामीण विकास के नाम पर कुछ नहीं किया है। हम कांग्रेस सरकार का काला चिट्ठा लेकर आए हैं, इसे हम जनता के सामने रखेंगे। उन्होंने कहा कि प्रदेश में दो लाख 60 हजार प्रधानमंत्री आवास योजना के मकान बनकर तैयार है लेकिन राज्य सरकार ने अपने हिस्से का पैसा नहीं दिया इसलिए मकान ऐसे ही तैयार खड़े हैं। पंडित दीनदयाल उपाध्याय ग्राम ज्योति योजना में भी केंद्र सरकार ने पूरा बजट दिया, लेकिन उपाध्याय का नाम से होने के कारण कांग्रेस सरकार ने सर्वे करवाना ही बंद कर दिया। वहीं श्यामा प्रसाद मुखर्जी योजना में भी काम अटका दिया है। ऐसी कई केंद्र सरकार की योजना है जो ग्रामीण विकास के लिए बेहद अहम थी, लेकिन प्रदेश सरकार ने उनका काम अटका दिया है।
भारतीय जनता पार्टी की राष्ट्रीय मंत्री अलका गुर्जर ने कहा कि पंचायत राज की शुरुआत राजस्थान से ही हुई थी। यह लोकतंत्र की पहली इकाई है, लेकिन प्रदेश की कांग्रेस सरकार लोकतंत्र का गला घोंट रही है। प्रदेश में आर्थिक कुप्रबंधन है। कानून व्यवस्था पूरी तरह से बिगड़ी चुकी है। उन्होंने कहा कि पंचायती राज चुनाव को कांग्रेस सरकार ने एक मजाक बना दिया है। कांग्रेस हमेशा पैसे का रोना रोती है लेकिन पिछले दो सालों से पंचायत चुनाव चल रहे हैं। उन्होंने कहा कि कुछ पंचायत समितियों और जिला पंचायतों के चुनाव अभी हो रहे हैं लेकिन अभी 12 जिले बाकी है, जिनके चुनाव होना है। सरकार चाहती तो सभी जिलों के चुनाव एक साथ हो सकते थे। उन्होंने कहा कि राजस्थान के इतिहास में पहली बार छठे वित्त आयोग का गठन कांग्रेस सरकार अभी तक नहीं कर पाई है। इसके चलते ग्रामीण विकास अवरुद्ध पड़ा है। उन्होंने कहा कि वित्त आयोग का करीब ढाई सौ करोड़ रुपये प्रथम किस्त का है और दूसरी किश्त तो सरकार अब तक जारी ही नहीं कर पाई।