अंधेरे में भविष्य, राजस्थान में 3 हजार से अधिक सरकारी स्कूलों में बिजली नहीं, कैसे होगी..

जयपुर/ सरकारों का हरगांव रोशन होने का दावा खोखला साबित होता नजर आ रहा है और यह दावा केवल कागजों में ही हैं हकीकत में स्थिति कुछ और है हालात तो यह है कि देश की युवा पीढ़ी अर्थात जहां देश का नया भविष्य बनाया जाता है ।

बलदेव सरकारी स्कूलों मैं बिजली का तर का भाव है और प्रदेश में करीब ऐसी 3000 से अधिक सरकारी स्कूल है जहां विद्युत कनेक्शन नहीं है ऐसे में पढ़ाई कैसे हो सकती है अंदाजा लगाया जा सकता है और सरकार तथा विभाग डिजिटल ऑनलाइन पढ़ाई की बात करने के साथ ही जोर दे रहा है बिना बिजली के ऑनलाइन और डिजिटल पढ़ाई कैसे संभव होगी।

राजस्थान में हालात यह है कि ग्रामीण क्षेत्रों और ढाणियों में सरकारी स्कूलों के बच्चे आज भी बिजली के अभाव में पेड़ों की छांव और खुले आंगन में बैठकर पढ़ाई करने के लिए मजबूर हैं और वहां विद्युत कनेक्शन का अभाव है इसकी सबसे बड़ी वजह है।

बजट का अभाव अगर सर्विस लाइन से सीधे कनेक्शन लेना हो तो 4 से ₹5000 लगते हैं और यह तीन लाइन नहीं खींचने पड़े तो खंबे और ट्रांसफार्मर लगाना पड़ेगा जिसका खर्चा इतना भारी पड़ता है कि स्कूल प्रशासन उसे उठाने में सक्षम नहीं है या यूं कहें तो अतिशयोक्ति नहीं होगी कि स्कूल प्रशासन के पास इतना बजट नहीं है और इसी कारण से प्रदेश की करीब 3000 से अधिक स्कूल है अंधेरे में हैं या यूं कहें उन में पढ़ने वाले बच्चों का भविष्य इस डिजिटल और ऑनलाइन पढ़ाई के युग में अंधेरे में है।

सरकारी आंकड़ों के अनुसार प्रदेश के 33 जिलों में 64937 सरकारी स्कूल है इनमें से 61607 स्कूलों में ही बिजली के कनेक्शन है और सोलर ऊर्जा से 2007 स्कूलों में बिजली आ रही है तथा पवन ऊर्जा से मात्र 45 स्कूलों में ही रोशनी हो रही है।

प्रदेश में किन जिलों में कितने स्कूलों में बिजली कनेक्शन नहीं है

जोधपुर में 889 बाड़मेर में 369 उदयपुर में 298 जैसलमेर में 245 बांसवाड़ा में 235 जालौर में 168 बांरा मे 165 अलवर मे 73 करौली में 51 प्रतापगढ़ में 62 राजसमंद में 38 सिरोही में 37 झालावाड़ में 31 जयपुर में 56 श्रीगंगानगर में 61 भरतपुर में 11 भीलवाड़ा में 31 बूंदी में 28 चित्तौड़गढ़ में 19 दोसा में 47

धौलपुर में आज डूंगरपुर में 19 हनुमानगढ़ में 17 झुंझुनू में 14 नागौर में 39 पाली में 29 टोंक मैं 24 बीकानेर के लूणकरणसर मैं 15 श्री डूंगरगढ़ के 17 खाजूवाला के 13 नोखा का एक कोलायत के 14 बच्चों की 66 और छतरगढ़ में दो स्कूलों में बिजली कनेक्शन नहीं है।