राजस्थान में चिकित्सका विभाग कितना सजग है , अपने ही जिंदा कार्मिक को मृत बता उसकी सूचना भेज दी फिर क्या हुआ…..

Dr. CHETAN THATHERA
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Bikaner।राजस्थान के चिकित्सा विभाग में यूट्यूब कई लापरवाहियां देख लो तो और सुनने को मिल जाती है लेकिन हद तो तब हो गई जब चिकित्सा विभाग ने अपनी ही एक जिंदा और ड्यूटी दे रहे कार्मिक को कोरोना से मौत होना बताते हुए समाज कल्याण विभाग में सरकारी सहायता के लिए इसकी सूचना तक भेज दी और इससे भी बड़ा आश्चर्य हुआ कि समाज कल्याण विभाग ने दी सूचना के आधार पर मृत कार्मिक के मोबाइल नंबर पर फोन लगाकर पूछ लिया कि आप राजेश यादव के यहां से बोल रहे हैं और उनको उस जवाब जवाब मिलता है हां लेकिन समाज कल्याण विभाग के अधिकारियों को यह पता नहीं था कि जो शख्स हां बोल रहा है वही राजेश यादव है और जिंदा है

घटना बीकानेर की महाजन सीएचसी पर काम करने वाले राजेश यादव की है । राजेश यादव को कोरोना तो हुआ था लेकिन एसिम्टोमेटिक था। घर पर ही रहते हुए वो कोरोना मुक्त हो गए थे। चिकित्सा विभाग के रिकॉर्ड के मुताबिक वो 29 अक्टूबर को पीबीएम अस्पताल में भर्ती हुए थे और दो नवम्बर को उनकी मौत हो गई। खुद राजेश बताते हैं कि वो कोरोना पॉजिटिव तो हुए लेकिन पीबीएम अस्पताल में भर्ती हुए ही नहीं थे। ऐसा भी नहीं है कि ये राजेश यादव कोई और है क्योंकि उनके आवास का पता है और मोबाइल नंबर भी उन्ही के है ।

अस्पताल में भर्ती नहीं , फिर भी मृतकों की सूची में शामिल

इस बारे में पीबीएम अस्पताल के अधीक्षक डॉ. परमेंद्र सिरोही के अनुसार पीबीएम अस्पताल के रिकार्ड में राजेश यादव का नाम नहीं है। वहीं जब चिकित्सा विभाग की रिपोर्ट में राजेश यादव का नाम है। जहां उसे मृत घोषित किया गया है। राजेश का नाम चिकित्सा विभाग की सूची में कैसे पहुंचा ? यह जांच का विषय है।

सीएमएचओ डॉ. ओ.पी. चाहर ने बताया कि मामले की जांच करवाई जा रही है कि आखिर ये नाम मृतक की सूची में कैसे आया ? खास बात यह है कि वो विभाग का ही कर्मचारी है, इसके बाद भी गलती हुई है।

और राजेश कर रहा ड्यूटी

पिछले छह महीने से राजेश यादव स्वयं लगातार ड्यूटी पर है। अगर उसकी मौत होती तो चिकित्सा विभाग को इसकी सूचना मिलती। विभाग ने रिकॉर्ड भेजने से पहले अपना रिकार्ड भी चैक नहीं किया ?

जांच करवा रहे हैं

इस बारे में सीएमएचओ डॉ. ओ.पी. चाहर ने बताया कि मामले की छानबीन करवा रहे हैं। आमतौर पर पीबीएम अस्पताल से यह रिपोर्ट आती है। अगर वहां से नाम नहीं आया है तो हमारे यहां से कैसे जुड़ा है ? यह जांच का विषय है।

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चेतन ठठेरा ,94141-11350 पत्रकारिता- सन 1989 से दैनिक नवज्योति - 17 साल तक ब्यूरो चीफ ( भीलवाड़ा और चित्तौड़गढ़) , ई टी राजस्थान, मेवाड टाइम्स ( सम्पादक),, बाजार टाइम्स ( ब्यूरो चीफ), प्रवासी संदेश मुबंई( ब्यूरी चीफ भीलवाड़ा),चीफ एटिडर, नामदेव डाॅट काम एवं कई मैग्जीन तथा प समाचार पत्रो मे खबरे प्रकाशित होती है .चेतन ठठेरा,सी ई ओ, दैनिक रिपोर्टर्स.कॉम