भीलवाड़ा में सावित्री बाई फूले जयंती मनायी गई

liyaquat Ali
2 Min Read
  • शिक्षा से ही समाज में आमूलचूल परिवर्तन होगा- माली 

Bhilwara news ( मूलचन्द पेसवानी ) – भीलवाड़ा में शुक्रवार को फूले सेवा संस्थान के तत्वावधान में देवरिया बालाजी के समीप महात्मा ज्योतिबा फूले प्रतिमा प्रांगण में सावित्री बाई फूले जयंती के अवसर पर आयोजित विचार गोष्ठी का आयोजन किया गया। उपस्थित लोगों ने उनके चित्र पर पुष्पाजंली अर्पित कर श्रृद्वाजंलि अर्पित की।

विचार गोष्ठी को संबोधित करते हुए फूले सेवा संस्थान के अध्यक्ष गोपाल लाल माली ने कहा कि शिक्षा समाज की धुरी है। कोई भी समाज शिक्षा के माध्यम से न केवल प्रगति पर आगे बढ़ सकता है, अपितु देश के भीतर आमूलचूल परिवर्तन भी ला सकता है। भारत की प्रथम महिला शिक्षिका सावित्री बाई फूले इसका अनुकरणीय उदाहरण है। सभी महिलाओं को उनसे प्रेरणा लेकर आगे बढ़ना चाहिये।

मुख्य वक्ता माली ने कहा कि सावित्री बाई फूले देश की पहली महिला अध्यापिका व नारी मुक्ति आंदोलन की पहली नेता थी। लेकिन एक ऐसी महिला जिन्होंने उन्नीसवीं सदी में छुआ-छूत, सतीप्रथा, बाल-विवाह, तथा विधवा-विवाह निषेध जैसी कुरीतियां के विरूद्ध अपने पति महात्मा ज्योतिबा फूले के साथ मिलकर काम किया पर उसे आज हिंदुस्तान ने भुला दिया।

समारोह में माली समाज के अध्यक्ष बंशीलाल माली ने सावित्री बाई फूले की शिक्षाओं को जीवन में उतार कर एवं उन पर अमल करने पर जोर दिया तथा शिक्षा क्षेत्र में हालही हो रहे आमूलचूल परिवर्तनों को भी अपनाने की बात कही।

कार्यक्रम के पूर्व फूले के अनुयायियों ने सावित्री बाई फूले एवं महात्मा ज्योतिबा फूले की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर सजदा किया। इस अवसर पर माली (सैनी) युवा महासभा के जिलाध्यक्ष हरनारायण माली, भैरूलाल माली, नानूराम गोयल, शंकरलाल माली, सुनिता शर्मा, मोहन बुलिवाल, मुरली सैनी, संतोष चंदेल, रामपाल माली, सीताराम माली, लादूलाल रागग्या, भैरुलाल चंदेल, जया चंदेल, नेमीचंद, आशीष प्रजापत, अदिति दाधीच, स्वाति शर्मा, बृजेश बारेशा, जगदीश चन्द्र माली, पुषालाल तुन्दवाल, कालू मोरी, मूलचंद छुलीवाल, साकेत गगरानी उपस्थित थे।

Share This Article
Follow:
Sub Editor @dainikreporters.com, Provide you real and authentic fact news at Dainik Reporter.