अशोक गहलोत ने आरएसएस और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर जमकर हमला बोला – वसुंधरा राजे को मुख्यमंत्री पद पर बने रहने का नैतिक अधिकार नहीं है

Sameer Ur Rehman
5 Min Read
Jaipur News:  अखिल भारतीय कांग्रेस के महासचिव अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) ने आरएसएस(RSS और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी(PM Narendra Modi) पर जमकर हमला बोला है। उन्होंने पीएम के उपवास कार्यक्रम पर कटाक्ष करते हुए कहा कि जो कभी महात्मा गांधी (Mahatma Gandhi)का नाम नहीं लेते थे वे आज उपवास कर रहे है। उन्होंने पूछा कि आरएसएस(RSS) के 100 साल होने आए हैं लेकिन कब उपवास किया? कांग्रेस का जो रास्ता था उसे ये लोग फ ॉलो कर रहे हैं बीजेपी का भी कांग्रेसीकरण कर रहे हैं।
गहलोत ने गुरूवार को यहां अपने सरकारी आवास पर मीडिया(Media) से कहा कि जनता को झांसे और जुमले देकर सत्ता में आ गए लेकिन अगले चुनाव में मोदीजी प्रधानमंत्री नहीं बनने वाले।  संघ और उसके कार्यकर्ता दलित विरोधी थे। गांधीजी के खिलाफ  थे, आज ये गांधीजी का नाम लेते हैं। जब इन्होंने देखा कि उनके आधार और विचारों पर कभी सत्ता में नहीं आ सकते तो इन्होने गांधी को याद किया, पटेल को याद किया और अब उपवास कर रहे हैं। वो टाइम आएगा जब ये पंडित नेहरू को भी अपना नेता मान लेंगे। राहुल गांधी की सोच सामाजिक समरसता की थी जिसकी बदौतल कांग्रेस(Congress) ने उपवास रखा।
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि आरएसएस व भाजपा(BJP) को एक हो जाना चाहिए। जैसे ही सत्ता मिली तो हिंदुत्व की रक्षा व सांस्कृति संगठन का काम छोड़ दिया। सत्ता के मजे लूटने लग गए। इनका ध्यान कौन मुख्यमंत्री, कौन मंत्री, चेयरमैन बनेगा। कुलपति कौन बनेगा। आरएसएस वाले जासूसी करने में लग गए।
पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा है कि वसुंधरा राजे (Vasundhara Raje)को मुख्यमंत्री पद(Chief Minister) पर बने रहने का नैतिक अधिकार नहीं है। राजस्थान में कानून नाम की चीज नहीं है। 2 अप्रेल को दलित आंदोलन के दौरान पूर्व मंत्री भरोसीलाल जाटव के घर को पुलिस की मौजूदगी में आग लगाई गई। घटना से जाटव अब भी नॉर्मल नहीं हो पाए हैं। वे बात करने की स्थिति में नहीं हैं लेकिन आज तक उनसे मिलने  न तो मुख्यमंत्री गईं और न ही प्रदेश का कोई मंत्री गया।
गहलोत ने गुरूवार को यहां अपने सरकारी आवास पर मीडिया से कहा कि  कलेक्टर और एसपी ने घटना से एक दिन पहले रात को ही जाटव और उनके परिवार को घर छोड़कर सुरक्षित जगह जाने को कह दिया था। अगले दिन उनके घर को तहस नहस किया और जेवर लूटकर ले गए।    कानून व्यवस्था खत्म हो चुकी है, लिहाजा सीएम नैतिक रूप से पद पर रहने का अधिकार खो चुकी हैं। सरकार की साख खत्म हो चुकी है।
ब्यूरोक्रेसी कंट्रोल में नहीं, नीचे से ऊपर तक भ्रष्टïाचार
उन्होंने कहा कि न तो ब्यूरोक्रेसी कंट्रोल में है और न ही पार्टी कार्यकर्ता।    नीचे से लेकर ऊपर तक भ्रष्टïाचार फैला है। खान आवंटन घोटाले की सीबीआई से जांच होनी चाहिए थी उसकी लोकायुक्त से जांच कराई गई। जिस अधिकारी को दंडित किया जाना चाहिए था उसे न केवल बहाल किया गया बल्कि आउट ऑफ  वे जाकर प्रमोशन किया गया। सेवानिवृत अधिकारियों को जेल भेजा गया।
एक सवाल के जवाब में कहा कि हमारे ऊपर रेवडिय़ा बांटने का आरोप लगाते थे लेकिन ये तो रेवड़ बांट रहे है। बड़ी बड़ी घोषणाएं कर रहे है लेकिन धरातल पर एक भी नहीं है।
समझदार को इशारा काफ ी, जो ना समझें वे अनाड़ी
दिल्ली जाने के सवाल पर पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि ये बात कुछ लोगों की ओर से जानबूझकर फैलाई जा रही है, जो अपरिपक्क हैं उन्हें राजनीति की समझ नहीं है। कभी कोई स्टेटमेंट आपस में किसी के खिलाफ  नहीं आया है। फिर भी कुछ लोग इसे मतभेद कहते हैं। कभी मुझे गुजरात भेजते हैं, कभी पंजाब,तोकभी राज्यसभा लेकिन मैंने कहा है…मैं थांसू दूर कोणी हूं। समझदार को इशारा काफी होता है। और जो ना समझें वो अनाड़ी हैं।
Share This Article
Follow:
Editor - Dainik Reporters http://www.dainikreporters.com/
Leave a comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *