Bhilwara News। राजस्थान में एवियन इन्फ्लुएंजा (बर्ड फ्लू) का संक्रमण अब तक 17 जिलों में फैल चुका हैं। गुजरे तीन दिनों से इस सूची में प्रदेश के 16 जिले शामिल थे, लेकिन शनिवार को इसमें वस्त्र नगरी भीलवाड़ा का नाम भी जुड़ गया। इन 17 जिलों के 67 नमूनों में अब तक बर्ड फ्लू के संक्रमण की पुष्टि हो चुकी हैं। प्रदेश के विभिन्न जिलों में पक्षियों की असामान्य मौतों का सिलसिला शनिवार को भी जारी रहा। शनिवार को विभिन्न जिलों में 215 पक्षी मृत मिले। इन्हें मिलाकर अब तक प्रदेश के 27 जिलों में 5130 परिन्दे असामान्य मौत के शिकार हो चुके हैं।
प्रदेश में शनिवार शाम तक गुजरे 24 घंटों में 19 जिलों में 215 पक्षियों की मौतें हुई।
पक्षियों की असामान्य मौतों का सिलसिला सर्वप्रथम राज्य के झालावाड़ जिले में प्रारंभ हुआ था। यहां कौओं की असामयिक मौतों के बाद विभिन्न जिलों में पक्षियों की मौतें होने का सिलसिला शुरू हुआ, जो अब तक जारी है। प्रदेश में 25 दिसम्बर से लेकर शनिवार तक 5130 पक्षी असामयिक मौत के शिकार हो चुके हैं। इनमें 3636 कौएं, 271 मोर, 397 कबूतर तथा 826 अन्य पक्षी शामिल है।
राजस्थान से भोपाल की रेफरल लैब को अब तक 27 जिलों से 266 सैम्पल्स भेजे जा चुके हैं, जिनमें से 17 जिलों के 67 नमूने पॉजिटिव पाए गए हैं।
पशुपालन विभाग के अनुसार भोपाल की रेफरल लैब से शनिवार को बाड़मेर व अलवर से पूर्व में भेजे गए नमूनों की जांच रिपोर्ट नेगेटिव प्राप्त हुई हैं, जबकि भीलवाड़ा जिले के 1 नमूने को पॉजिटिव माना गया है। राजस्थान के 19 जिलों में शनिवार को मृत मिले 215 पक्षियों में से 141 कौएं, 30 कबूतर, 10 मोर तथा 34 अन्य पक्षी शामिल हैं। शनिवार को जयपुर में 59, दौसा, पाली व सवाई माधोपुर में 4-4, झुंझुनूं व बूंदी में 7-7, अजमेर में 5, भीलवाड़ा व भरतपुर में 2-2, नागौर व झालावाड़ में 20-20, धौलपुर, बाड़मेर व कुचामन सिटी में 1-1, टोंक में 9, जोधपुर में 18, जालोर में 3, कोटा में 26, बारां में 22 पक्षियों की मौत हुईं।
भोपाल की रेफरल लैब से अब तक राजधानी जयपुर, दौसा, सवाई माधोपुर, हनुमानगढ़, जैसलमेर, पाली, सिरोही, कोटा, बारां, झालावाड़, बांसवाड़ा, चित्तौडगढ़़, टोंक, करौली, प्रतापगढ़, झुंझुनूं व भीलवाड़ा जिले में मृत पाए गए पक्षियों के सैम्पल्स की जांच रिपोर्ट में बर्ड फ्लू के संक्रमण की पुष्टि हो चुकी हैं। भोपाल की रेफरल लैब से राज्य के 7 जिलों की रिपोर्ट नेगेटिव आ चुकी हैं। इनमें सीकर, भीलवाड़ा, भरतपुर, चूरु, श्रीगंगानगर, जोधपुर व जालोर जिला शामिल हैं।