जयपुर। राज्य में लंबे समय से आंदोलन कर रहे पंचायती राज एवं ग्रामीण विकास विभाग के 12 हजार से अधिक अधिकारियों और कर्मचारियों ने मांगें नहीं मानें जाने पर 2 अक्तूबर को सामूहिक इस्तीफा देकर आमरण अनशन शुरू करने का ऐलान किया है। इसमें विकास अधिकारीए पंचायती प्रसार अधिकारी और ग्राम विकास अधिकारी शामिल हैं।
तीन संगठनों के संयुक्त फोरम राजस्थान पंचायतीराज सेवा परिषद् के महावीर प्रसाद शर्माए सोहनलाल डारा और बबलीराम जाट ने संवाददाता सम्मेलन में बताया कि मांगों को लेकर 8 दिन से अधिकारी और कर्मचारी हड़ताल पर है लेकिन सरकार चुप हैं। पदोन्नति सहित कर्ई मांगों को लेकर सरकार से नौ बार समझौते हो चुके हैं लेकिन उस पर अमल नहीं किया जा रहा है।
मंत्री कहते है कि बात करते हैंए हम कितनी बार बात करेंंगेए समझौते करेंगे। उन्होंने चेतावनी दी है कि 21 सितंबर से आंदोलन और तेज किया जाएगा।
ये काम हो रहे प्रभावित
. प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत बन रहे आवासों का काम रुका।
. मनरेना में रोजगार सृजन अटका।
.विधायक कोष के काम बाधित।
. सांसद कोष के काम अटके।
. हजारों पेंशन स्वीकृतियों का काम प्रभावित।