अहमदाबाद/ कोरोनावायरस संक्रमण की दूसरी लहर का तांडव अभी बरकरार है और इसी तांडव के बीच में ब्लैक फंगस ने भी अपना कोहराम मचाना शुरू कर दिया है और ब्लैक फंगस से पीड़ित रोगियों की संख्या भी अब धीरे-धीरे बढ़ने लगी हैं तो वही इससे पीड़ित रोगियों की मौत का भी सिलसिला शुरू हो गया है । ब्लैक फंगस बड़े बुजुर्गों के बाद अब बच्चों में भी फैलना शुरू हो गया है ।
गुजरात के अहमदाबाद में भी एक 13 साल के बच्चे में ब्लैक फंगस (म्यूकोरमाइकोसिस) का मामला सामने आया है संभवतया 13 साल के बच्चे में ब्लैक फंगस का यह देश का पहला मामला है।
बताया जाता है कि अहमदाबाद के 13 साल के इस बच्चे की मां कोरोना पॉजिटिव थी और उससे उसका निधन हो गया था तथा यह बच्चा भी कोरोना पॉजिटिव होकर उपचार के बाद ठीक हो गया था लेकिन अब डेढ़ महीने के बाद बच्चे में ब्लैक फंगस के लक्षण पाए गए हैं ।
चिकित्सकों ने जब बच्चे का टेस्ट किया तो उसमे ब्लैक फंगस पॉजिटिव पाया गया । आज बच्चे का ऑपरेशन किया गया बच्चा सुरक्षित है।
कोरोना महामारी के बीच ब्लैक फंगस पूरे देश में पैर पसारना शुरू कर दिया है और देश के अलग-अलग राज्यों में ब्लैक फंगस के अब तक 7251 रोगी सामने आ चुके हैं जिनमें से 219 लोगों की मौत भी हो चुकी है ।
महाराष्ट्र मैं ब्लैक फंगस के सबसे ज्यादा मामले 1500 रोगी इस रोग से पीड़ित पाए गए हैं और 90 की मौत हो चुकी है जबकि गुजरात में ब्लैक फंगस की 1163 रोगियों का पता चला और 61 लोगों की मौत हो चुकी है।
राजस्थान मे ब्लैक फंगस के रोगियों का आकंडा दहाई को पार गया है और मरने का भी दौर शुरू हो गया ।
रेमडेसिविर इंजेक्शन के बाद आब ब्लैक फगंस के एमेफोटेरिसीन बी इंजेक्शन की कालाबाजारी
कोरोनावायरस पीड़ित रोगियों को लगाए जाने वाले रेमेडी शिविर इंजेक्शन की कालाबाजारी ऑक्सीजन की कालाबाजारी के बाद अब ब्लैक फंगस की रोकथाम के लिए उपयुक्त में लिए जाने वाले एंफोटरइसिन बी नामक इंजेक्शन की भी बाजार में कालाबाजारी शुरू हो गई है।
अहमदाबाद की क्राइम ब्रांच ने इस इंजेक्शन की कालाबाजारी करते चार जनों को गिरफ्तार कर उनके पास से इंजेक्शन बरामद किए हैं ।
राजस्थान मे ब्लैक फंगस के रोगियों की संख्या भी दहाई का आकंडा पार गया है और इससे पीड़ित रोगियो की भी मौते होने लगी है ।