पैरासिटामोल,निमेसुलाइड, कोडीन सीरप सहित 14 दवाइयों पर बैन,अब नहीं बिक सकती बाजार में

Dr. CHETAN THATHERA
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नई दिल्ली/ सरकार ने 7 साल बाद एक बार फिर खांसी बुखार विपरीत आने वाली पेरासिटामोल निमेसूलाइड और कोडीन सिरप सहित 14 दवाइयों पर प्रतिबंध लगा दिया है इन दवाइयों पर प्रतिबंध लगाने के पीछे इन दवाइयों के सेवन से जान का खतरा होने की रिपोर्ट समिति द्वारा मिली थी।

इसके बाद सरकार ने यह कदम उठाया है इससे पहले सरकार ने 2016 में 344 तरह की फिक्स्ड डोज कांबिनेशन(एफडीसी FDC) दवाइयों पर प्रतिबंध लगाया था । स्वास्थ्य मंत्रालय इस संबंध में एक अधिसूचना जारी कर दी है ।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जारी की गई अभी सूचना में बताया गया कि जो 14 दवाइयां प्रतिबंध की गई है इनका कोई चिकित्सीय महत्व नहीं है और इनके उपयोग से लोगों के जीवन को जोखन में डालना है तथा यह दवाइयां लोगों के जीवन को जोखिम में डाल सकती है ।

इन दवाओं पर प्रतिबंध

प्रतिबंधित दवाओं में सामान्य संक्रमण, खांसी और बुखार के इलाज के लिए उपयोग की जाने वाली मिश्रित दवाएं शामिल हैं।

इनमें निमेसुलाइड व पेरासिटामोल की घुलनशील गोलियां, क्लोफेनिरामाइन मैलेट + कोडीन सीरप, फोलकोडाइन + प्रोमेथाज़िन, एमोक्सिसिलिन + ब्रोमहेक्सिन और ब्रोमहेक्सिन + डेक्सट्रोमेथोर्फन + अमोनियम क्लोराइड + मेन्थॉल, पैरासिटामोल + ब्रोमहेक्सिन+ फिनाइलफ्राइन + क्लोरफेनिरामाइन + गुइफेनेसिन और सालबुटामोल + ब्रोमहेक्सिन के नाम हैं।

सरकार ने यह कदम विशेषज्ञ समिति की सिफारिशों के बाद यह कदम उठाया है। विशेषज्ञ समिति ने सरकार को भेजी अपनी सिफारिश में कहा कि “इन एफडीसी (फिक्स्ड डोज कॉम्बिनेशन) दवाओं का कोई चिकित्सीय औचित्य नहीं है और इन दवाओं को लेने से मानव जीवन में खतरा पैदा हो सकता है।

इसलिए, जनहित में, औषधि एवं प्रसाधन सामग्री अधिनियम, 1940 की धारा 26 ए के तहत इस एफडीसी के विनिर्माण, बिक्री या वितरण पर रोक लगाना आवश्यक है।”

एफडीसी(FDC) दवाइंया क्या होती है 

एफडीसी दवाएं वे होती हैं जिन्हें एक निश्चित अनुपात में दो या दो से अधिक सक्रिय औषधीय सामग्री का मिश्रित करके बनाया जाता है। साल 2016 में, सरकार ने 344 दवा संयोजनों के निर्माण, बिक्री और वितरण पर प्रतिबंध लगाने की घोषणा की थी।

यह घोषणा उच्चतम न्यायालय के आदेश पर गठित एक विशेषज्ञ समिति के यह कहने के बाद की गई थी कि संबंधित दवाएं बिना वैज्ञानिक डेटा के रोगियों को बेची जा रही हैं। इस आदेश को विनिर्माताओं ने अदालत में चुनौती दी थी। वर्तमान में प्रतिबंधित की गईं 14 एफडीसी संबंधित 344 दवाओं के संयोजन का हिस्सा हैं।

सरकार के द्वारा प्रतिबंध लगाने के बाद यह दवाइयां बाजार में नहीं भेजी जा सकेगी अगर कोई से बेचता है तो उसके खिलाफ कानूनी कार्यवाही अमल में लाई जाएगी।

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चेतन ठठेरा ,94141-11350 पत्रकारिता- सन 1989 से दैनिक नवज्योति - 17 साल तक ब्यूरो चीफ ( भीलवाड़ा और चित्तौड़गढ़) , ई टी राजस्थान, मेवाड टाइम्स ( सम्पादक),, बाजार टाइम्स ( ब्यूरो चीफ), प्रवासी संदेश मुबंई( ब्यूरी चीफ भीलवाड़ा),चीफ एटिडर, नामदेव डाॅट काम एवं कई मैग्जीन तथा प समाचार पत्रो मे खबरे प्रकाशित होती है .चेतन ठठेरा, दैनिक रिपोर्टर्स.कॉम